मुख्यमंत्री धामी हेलीपैड से रोड शो करते हुए स्टेडियम पहुंचे। खिलाड़ियों ने जगह-जगह पुष्प वष्रा कर मुख्यमंत्री का स्वागत किया। स्टेडियम पहुंचकर मुख्यमंत्री ने राष्ट्रीय ध्वज एवं ओलंपिक ध्वज फहराया व विभिन्न जनपदों से आये खेल दलों के मार्चपास्ट की सलामी ली।
उन्होंने कहा कि राज्य खेलों का यह आयोजन उत्तराखंड के खिलाड़ियों को ना सिर्फ अपनी प्रतिभा दिखाने का मौका देगा बल्कि उन्हें राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी पहचान स्थापित करने के लिए प्रेरित भी करेगा। उन्होंने कहा कि इस आयोजन का उद्देश्य सिर्फ खेलों की विभिन्न प्रतियोगिताएं आयोजित करवाना नहीं, बल्कि उत्तराखंड के सुदूरवर्ती क्षेत्रों सहित सभी मेहनती और समर्पित खिलाड़ियों को एक स्तरीय मंच प्रदान करना है। जिसके द्वारा वे अपने खेल को एक नई दिशा प्रदान कर सकें।
उन्होंने कहा कि हमारी राज्य सरकार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में खेल के क्षेत्र में उत्तराखंड को एक अग्रणी राज्य के रूप में स्थापित करने की दिशा में निरंतर कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि राज्य में खेलों और खिलाड़ियों को हर प्रकार से प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से हमनें नई खेल नीति लागू की है। उन्होंने कहा कि इस नीति के तहत हमने राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पदक लाने वाले खिलाड़ियों को आउट ऑफ टर्न सरकारी नौकरी देने की शुरुआत भी कर दी है।
उन्होंने कहा कि मुझे यह बताते हुए खुशी होती है कि इस साल हमने मेडल लाने वाले प्रदेश के 31 खिलाड़ियों को सरकारी विभागों में नियुक्ति दी है। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही हमनें मुख्यमंत्री खेल विकास निधि की स्थापना भी की है। जिसके माध्यम से पूर्व में दी जाने वाली नकद पुरस्कार धनराशि में लगभग 100 प्रतिशत की वृद्धि की गई है। उन्होंने कहा कि आज प्रदेश के आवासीय स्पोर्ट्स कालेजों के खिलाड़ियों को निशुल्क प्रशिक्षण, शिक्षा, आवास, भोजन एवं किट आदि प्रदान किए जा रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री उदीयमान खिलाड़ी उन्नयन योजना और मुख्यमंत्री खिलाड़ी प्रोत्साहन योजना के जरिए प्रदेश के उभरते हुए खिलाड़ियों को छात्रवृत्ति दी जा रही है। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही उन्हें खेल उपकरण खरीदने के लिए प्रति वर्ष 10 हजार रूपये की धनराशि अलग से दी जा रही है। इतना ही नहीं राष्ट्रीय स्तर की खेल प्रतियोगिताओं में प्रतिभाग करने वाले खिलाड़ियों को दी जाने वाली खेल किट की धनराशि 3000 रूपए से बढ़ाकर 5000 रूपये कर दी गई है।
उन्होंने कहा कि इसी प्रकार प्रशिक्षकों को दी जाने वाली धनराशि में भी वृद्धि की गई है। इसी क्रम में दिव्यांग खिलाड़ियों तथा प्रशिक्षकों को भी समान अधिकार प्रदान किए गए हैं। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा उत्तराखण्ड खेल रत्न और द्रोणाचार्य पुरस्कारों सहित हिमालय खेल रत्न पुरस्कार भी प्रदान किये जाने की व्यवस्था की गई है।
उन्होंने कहा कि 264 करोड़ रूपये की लागत से जल्द ही चंपावत में महिला स्पोर्ट्स कालेज की स्थापना की जाएगी। इसके साथ ही हम बहुत जल्द राज्य में खेल विविद्यालय भी बनाने जा रहे हैं। जिससे हमारे खिलाड़ियों को विस्तरीय प्रशिक्षण, सुविधाएं और अधिक अवसर प्राप्त हो सकेंगे। उन्होंने कहा कि हमारे प्रदेश को आगामी राष्ट्रीय खेलों की मेजबानी करने का सुअवसर प्राप्त हुआ है।
इस आयोजन को ध्यान में रखते हुए प्रदेश में अवस्थापना सुविधाओं का निर्माण किया जा रहा है। साथ ही खिलाड़ियों के प्रशिक्षण के लिए प्रशिक्षण शिविरों का भी आयोजन किया जा रहा है। श्री धामी जी ने कहा कि राज्य खेलों में अच्छा प्रदर्शन करने वाले खिलाड़ियों को निश्चित ही राष्ट्रीय खेलों में भी प्रतिभाग करने का अवसर प्राप्त होगा। उन्होंने सभी खिलाड़ियों से आह्वान करते हुए कहा कि आप सभी जमकर मेहनत करें और राज्य खेलों में पदक हासिल करने के साथ ही आगामी राष्ट्रीय खेलों में भी अधिक से अधिक पदक प्राप्त कर राज्य का नाम रोशन करें।
उन्होंने कहा कि मुझे पूर्ण विास है कि राज्य खेलों का यह आयोजन आपके खेल करियर को नई दिशा और गति देने का माध्यम बनेगा और आप पूरी मेहनत के साथ आगे भी राज्य और देश का नाम रोशन करते रहेंगे। मुख्यमंत्री ने रुद्रपुर में ओलंपिक संघ के कार्यालय के लिए भूमि चिन्हित करने के निर्देश जिलाधिकारी को दिए। विशिष्ट अतिथि सांसद अजय भट्ट ने सभी खिलाड़ियों को 5वां राज्य ओलंपिक खेल 2024 के लिए बधाई दी।
उन्होंने कहा कि खेल हमे अनुशासन सिखातें है, खेल स्वास्थ्य के लिए ही नहीं अपितु मानसिक और शारीरिक विकास के लिए भी अति आवश्यक हैं। उन्होंने कहा कि बच्चों और युवाओं को खेलों के लिए प्रेरित करें ताकि भविष्य में मैडल जीत कर प्रदेश व देश का नाम रोशन कर सकें।