प्रभारी स्वास्थ्य सचिव ने की व्यवस्थाओ की समीक्षा
चार मेडिकल कालेजों से जोड़े गए हैं 400 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रदेहरादून। प्रभारी स्वास्थ्य सचिव ने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि पहाड़ के अंतिम छोर तक टेलीमेडिसिन सेवाओं का लाभ लोगों को मिलना चाहिए। शनिवार को स्वास्थ्य महानिदेशालय में टेलीमेडिसिन सर्विस की व्यवस्थाओं की समीक्षा करते हुए उन्होंने यह निर्देश दिए हैं। समीक्षा के दौरान यूकेएचएसडीपी द्वारा प्रस्तुतीकरण के माध्यम से बताया गया कि टेलीमेडीसीन परियोजना के अंर्तगत राज्य में 400 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को चार मेडिकल कालेजों क्रमश: दून मेडिकल कालेज, श्रीनगर मेडिकल कालेज, हल्द्वानी मेडिकल कालेज व अल्मोड़ा मेडिकल कालेज से जोड़कर विशेषज्ञ चिकित्सकों के माध्यम से मरीजों को निशुल्क परामर्श दिया जा रहा है।
बताया गया कि पहले चरण में दून मेडिकल कालेज से देहरादून जिले की 20 पीएचसी, हरिद्वार की 20 पीएचसी, उत्तरकाशी की 30 पीएचसी व टिहरी की 30 पीएचसी को जोड़ा जा चुका है। जिसके अंतर्गत बीती अगस्त से अब तक 2189 मरीजों को लाभ दिया जा चुका है।
दूसरे चरण में शेष 300 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को तीन अन्य राजकीय मेडिकल कालेजों से जोड़ा जा चुका है। प्रभारी सचिव ने कहा कि यह प्रयास किए जाए कि ओपीडी का समय शाम पांच बजे तक किया जाए। टेलीमेडिसिन का उपयोग बढ़ाये जाने तथा आमजन में इसके प्रचार-प्रसार हेतु सघन प्रयास किए जाए। ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों को इस सुविधा का लाभ मिल सके। बैठक में एनएचएम की निदेशक डा. सरोज नैथानी, चिकित्सा शिक्षा निदेशक डा. आशुतोष सयाना, डा. यूएस कंडवाल, डा. सुशील ओझा, डा. विपुल कुमार, डा. अमित शुक्ला, तारके राव, विकास राणा आदि मौजूद रहे।