गांवों में बने आर्थिकी का केन्द्र: शौर्य डोभाल
पौड़ी। इंडिया फाउंडेशन के निदेशक व भाजपा नेता शौर्य डोभाल ने गांवों को आर्थिकी केंद्र बनाए जाने पर जोर दिया है। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में गांवों के लिए एक नया आर्थिक मॉडल तैयार करना होगा। जहां शिक्षा, स्वास्थ्य व रोजगार उपलब्ध हों। गांवों को आर्थिकी का केंद्र बनाए जाने से पहाड़ के गांवों में पलायन स्वत: ही थमने लग जाएगा। डोभाल ने पैतृक गांव घीड़ी में आवासीय भवन निर्माण के लिए पहुंचे थे। रविवार को मुख्यालय पौड़ी के सर्किट हाउस में इंडिया फाउंडेशन के निदेशक व भाजपा सुशासन विभाग के प्रदेश संयोजक शौर्य डोभाल ने पत्रकारों से वार्ता करते हुए कहा कि मैं अपने पैतृक गांव घीड़ी में आवासीय भवन निर्माण कार्य के लिए आया हूं। पहाड़ में हो रहे पलायन के सवाल पर डोभाल ने कहा कि पलायन रोकने का एक ही तरीका है। इसके लिए हमें गावों को आर्थिकी का केंद्र बनाना होगा। इसके लिए हमें गावों के लिए नया आर्थिक मॉडल तैयार करना होगा। जिसमें लघु, सूक्ष्म व कुटीर उद्यम सबसे बेहतर विकल्प हैं। डोभाल ने कहा कि पलायन कर चुके लोगों को हमें वापस लाने के लिए विशेष तौर पर मेहनत करनी ही होगी। हालांकि यह मुश्किल भी है। क्योंकि उत्तराखंड में नौकरीपेशा लोग अधिक हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश का अधिकत्तर युवा रोजगार के लिए बाहर गया हैं। युवाओं रोजगार देने योग्य बनाने के लिए हमें उन्हें तैयार करना होगा। कहा कि युवाओं को नौकरी से व्यवसाय की ओर मोडे जाने की आवश्यकता है। जब पहाड़ का युवा रेाजगार देने मे सक्षम होगा, तो वह स्वयं भी गांव मे रहेगा और अन्य को भी गांव छोड़ने से रोकने में सक्षम बनेगा। गढ़वाल सीट के खाली होने पर उपचुनाव में उतरने के सवाल पर डोभाल ने कहा कि वह राजनीति में एक कार्यकर्ता के तौर पर आए हैं। पार्टी जो भी जिम्मेदारी देगी, उसका ईमानदारी से निर्वहन किया जाएगा। कहा कि मैं टिकट की राजनीति नहीं करता हूं