G-KBRGW2NTQN बाढ़ परिक्षेतण्र में भागीरथी, अलकनंदा व गंगा के कई और इलाके शामिल – Devbhoomi Samvad

बाढ़ परिक्षेतण्र में भागीरथी, अलकनंदा व गंगा के कई और इलाके शामिल

देहरादून। मंत्रिमंडल ने बाढ़ परिक्षेतण्रअधिनियम के तहत और क्षेत्रों का भी फ्लड प्लेन जोनिंग में शामिल किया है। 2012 में जारी अधिसूचना के साथ ही इन नये क्षेत्रों को जोड़ा जाएगा। पूर्व में शामिल किये जा चुके क्षेत्रों की तरह ही नये क्षेत्रों को भी अब बाढ़ प्लेन जोनिंग के डेवलपमेंट व आपात स्थितियों में शामिल किया जा सकेगा। उत्तराखण्ड बाढ़ मैदान परिक्षेतण्रअधिनियम 2012 के प्राविधानों के अब तक भागीरथी नदी में गंगोत्री से बड़ेथी तक माथ 10 किलोमीटर और हरिद्वार में चंडी पुल कलसिया से गांव लक्सर तक 50 किलोमीटर का इलाका रखा गया था। इसकी अधिसूचना 2018 में जारी की जा चुकी है।
आज लिये गये फैसले के अनुसार टिहरी में भिलंगा नदी के दोनों किनारों पर गंगी से घनसाली तक 68 किलोमीटर, भागीरथी में दोनों किनारे कोटेर से बांध से देवप्रयाग संगम तक 22.50 किमी., अलकनंदा नदी में दायें किनारे पर श्रीनगर से देवप्रयाग संगम तक 37 किमी. , गंगा में दाये किनारे पर देवप्रयाग संगम से ढालवाला तक 68 किमी. को इस दायरे मे लाया गया है। इसी तरह उत्तरकाशी में भागीरथी के दोनों किनारों पर गंगोत्री से गंगनाती तक 42 किमी., गंगनानी से गंगोरी 33.85 किमी., बड़ेथी चुंगी से धरासू पावर हाउस चिन्यालीसौड़ तक 25 किमी. के साथ ही चमोली में अलकनंदा नदी के दायां तट माणा से तौली लगा रानों तक 135 किमी., अलकनंदा के बायां तट माणा से सोनला तक 112 किमी., सोनला से कमेड़ा तक 22 किमी. तक का क्षेत्र बाढ़ प्ररिरक्षण क्षेत्र में अधिसूचित करने का निर्णय लिया गया है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *