देहरादून। कर्मचारियों के मानसिक उत्पीडन, कर्तव्य और दायित्वों के निर्वहन में शिथिलता बरतने के मामले में शासन ने जिला आबकारी अधिकारी उत्तरकाशी प्रतिमा गुप्ता को निलंबित कर दिया है। आबकारी निरीक्षक ओमप्रकाश को जिला आबकारी अधिकारी का दायित्व दिया गया है। आबकारी सचिव सचिन कुव्रे की ओर से इस संबंध में आदेश जारी किया गया है। जिसमें कहा गया है कि जिला आबकारी अधिकारी प्रतिमा गुप्ता पर कई गंभीर आरोप सही पाए गए हैं। सचिव की ओर से जारी आरोप पत्र में कहा गया है कि अधिकांश कर्मचारियों का वेतन समय पर जारी न करने और कर्मचारियों का मानसिक उत्पीड़न करने का आरोप है। बिना सक्षम अधिकारी के अनुमोदन के अधीनस्थ कर्मचारियों का अपने कार्यक्षेत्र से बाहर जाकर स्थानांतरण व संबद्धता किया जाना। जो कि स्थानांतरण अधिनियम 2017 का खुला उल्लंघन है। इसके साथ ही उच्च अधिकारियों को प्रेषित पत्राचार में सामान्य शिष्टाचार का पालन न करना, शराब की दुकानों के व्यवस्थापन के लिए निर्धारित राजस्व आगणन चार्ट में संबंधित आबकारी निरीक्षक को सम्मिलित नहीं किया जाना, ई-टेंडर के माध्यम से मदिरा दुकानों के व्यवस्थापन में अनावयक रूप से लापरवाही के साथ ही समय पर कार्यवाही न करना, विदेशी मदिरा दुकान व्यवसायियों की निकासी अनावश्यक रूप से रोककर राजस्व की हानि पहुंचाना, नियम विरूद्ध जाकर आबकारी निरीक्षक के स्थान पर उप आबकारी निरीक्षक को एलएल-2 का प्रभारी बनाने समेत कई गंभीर आरोप लगाए गए हैं। सचिव ने कहा कि इससे साफ है कि जिला आबकारी अधिकारी प्रतिमा गुप्ता की कर्तव्य और दायित्वों के निर्वहन में शिथिलता और कार्यों में चूक साफ देखी जा सकती है। इसके देखते हुए जिला आबाकारी अधिकारी प्रतिमा को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर आबकारी आयुक्त कार्यालय में अटैच कर दिया गया है।